नवीन निश्चल – एक ऐसा अभिनेता जिसे कहा जाता था गरीबों का राजेश खन्ना

इस दुनिया में अक्सर आपको लोग ये कहते हुए मिला करते होंगे कि मनुष्य अपने भाग्य का निर्माता स्वयं है। मगर कहीं ना कहीं हमारे आस-पास कुछ ऐसे उदाहरण मिल ही जाते है जिन्हें देखकर ये कहना पड़ता है कि नियति के आगे हर कोई मजबूर होता है और होता वही है जो नियति ने पहले से ही तय कर रखा है। हो सकता है कुछ लोग इस विचार से सहमत न हो, मगर आज हम आपको ऐसा ही एक उदहारण बॉलीवुड अभिनेता नवीन निश्चल की जिंदगी से लेकर बताने जा रहे है जिसे सुनकर भाग्य पर थोड़ा विचार करना तो बनता ही है।

naveen nishchal

नवीन निश्चल – Naveen Nishchal 

11 अप्रैल 1946 को पकिस्तान के लाहौर में जन्मे नवीन निश्चल को शायद बहुत कम लोग जानते होंगे, मगर ये अभिनेता एक समय में सिनेमा में सबसे सुन्दर अभिनेताओं में से एक थे। साल 1970 में आयी अपनी पहली ही सफल फिल्म ‘सावन भादों’ से अपने करियर की शानदार शुरुवात करने के बावजूद बहुत जल्द ही उनका करियर लड़खड़ा गया। 

फिल्म ‘सावन भादों’ के निर्माता-निर्देशक ने उस समय दो नए कलाकारों को अपनी फिल्म में अवसर दिया था। इसमें हिंदी फिल्म अभिनेत्री के रूप में अपनी पहली फिल्म कर रही रेखा, इसके पहले साउथ की फिल्मों में काम कर चुकी थी और अभिनेता के रूप में इनके सामने काम नवीन निश्चल कर रहे थे। 

naveen nishchal

मोहन सहगल के कुछ शुभचिंतकों ने इस जोड़ी को एक असामान्य जोड़ी कहा था, क्यूंकि उस समय अभिनेत्री बनने के लिए गोरा रूप होना बेहद जरुरी हुआ करता था, मगर रेखा का रंग सांवला था। वहीँ दूसरी तरफ अभिनेता बने नवीन निश्चल काफी गोर थे। लेकिन इस फिल्म के रिलीज़ के बाद इस रंग में विपरीत जोड़ी ने लोगों का मुँह बंद कर दिया और फिल्म जबरदस्त हिट साबित हुई।

फिल्म हिट होने के बाद नवीन के घर निर्माताओं की लाइन लगने लग गयी और नवीन ने बिना सोचे समझे ढ़ेर सारी फ़िल्में साइन कर ली। साल 1971 में नवीन की करीब 6 फ़िल्में रिलीज़ हुई। जिनमें से ‘बुड्ढा मिल गया’ नामक फिल्म को ही औसतन सफलता मिल पायी। इसके बाद ही नवीन को ये समझ में आया कि उन्होंने गलती की है और उस गलती का उनके करियर पर गंभीर असर हुआ।

naveen nishchal - नवीन निश्चल

‘फिल्म एंड टेलीविज़न इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंडिया’ से सबसे पहला गोल्ड मैडल हासिल करने वाले छात्र रहे नवीन निश्चल को इसके बाद असफलता के साथ चलना पड़ा। असफलता की राह में कुछ सफल फ़िल्में जैसे ‘विक्टोरिया नंबर 203’, ‘धर्मा’ और ‘हंसते जख्म’ भी इन्होंने बॉलीवुड को दी, मगर इन फिल्मों की सफलता का श्रेय कभी इनके साथी कलाकारों को तो कभी फिल्म के गानों को दिया गया। 

नवीन निश्चल की जो फ़िल्में हिट हुई थी उसका श्रेय एक अभिनेता के तौर पर इन्हें कभी नहीं मिल पाया। जहां अपने दम पर उस दौर में हिट फ़िल्में देने वाले राजेश खन्ना, शशी कपूर, जीतेन्द्र, संजीव कुमार, अमिताभ बच्चन, धर्मेंद्र, विनोद खन्ना और शत्रुघ्न सिन्हा जैसे अभिनेता अकेले अपने दम पर हिट फ़िल्में दे रहे थे, वहीँ मल्टीस्टार फिल्मों में भी कर रहे थे। मगर नवीन अपने आपको मल्टीस्टारर फिल्मों से जोड़ नहीं सके।
naveen nishchal

जिस समय नवीन इन फिल्मों में काम कर रहे थे वो दौर रोमांटिक फिल्मों का हुआ करता था। ऐसी फिल्मों में उस समय राजेश खन्ना सुपरस्टार बन चुके थे और लोग उनके दीवानें हो चुके थे। नवीन निश्चल के अभिनय में राजेश खन्ना की झलक देखने को मिलती थी और इसी वजह से नवीन को वो निर्माता साइन करते थे जो राजेश खन्ना को अपनी फिल्मों में नहीं ले सकते थे। इसीलिए नवीन को गरीबों का राजेश खन्ना कहा जाने लगा। 

रोमांटिक फिल्मों का दौर चल ही रहा था कि फिल्म जंजीर, दीवार और शोले जैसी एक्शन फिल्मों की कामयाबी से निर्माता-निर्देशकों का ध्यान एक्शन फिल्मों की और चला गया। ऐसे में रोमांटिक फिल्मों के सरताज और पहले सुपरस्टार रहे राजेश खन्ना को भी अपनी रोमांटिक छवि बचाने के लिए नाकाम संघर्ष करना पड़ा था। नवीन निश्चल भी इन एक्शन फिल्मों के शैलाब से बच नहीं पाए। 

naveen nishchal

कुछ समय गुमनामी के अंधेरे में रहने के बाद नवीन ने कुछ फिल्मों में सह भूमिकाएं निभाई। फिल्मों में असफलता का दौर चल ही रहा था कि इनकी निजी जिंदगी में भी अस्थिरता आने लगी। नवीन ने अभिनेता और निर्देशक रहे शेखर कपूर की बहन नीलू कपूर के साथ प्रेम विवाह किया था। 

कुछ समय बाद नवीन और अभिनेत्री पद्मिनी कपिला के बीच बढ़ती नजदीकियों की वजह से उनकी पत्नी नीलू ने उनका साथ छोड़ दिया और अलग हो गयी। बाद ने पद्मिनी ने भी इनका साथ छोड़ दिया। इसके बाद नवीन ने गीतांजली से शादी से शादी की।

naveen nishchal

गीतांजली ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली और नवीन और उनके भाई प्रवीण पर प्रताड़ना का आरोप भी लगाया था। हालांकि मुंबई की सेशन कोर्ट ने नवीन को इस केस में बरी कर दिया मगर इस हादसे से इन्हें काफी धक्का पहुंचा था। 

इतना कुछ होने के बाद फिल्मों को छोड़ नवीन ने टेलीविज़न की तरफ अपना रुख मोड़ लिया और कुछ धारावाहिकों में काम भी किया। इनमें से एक धारावाहिक ‘देख भाई देख’ बेहद लोकप्रिय हुआ था। फिल्मों से टेलीविज़न के सफर के बाद इस अभिनेता का 19 मार्च 2011 में पुणे में दिल का दौरा पड़ने की वजह से देहांत हो गया।

दोस्तों, अगर आपको हमारी यह जानकारी ‘नवीन निश्चल – एक ऐसा अभिनेता जिसे कहा जाता था गरीबों का राजेश खन्ना’अच्छी लगी हो तो कृपया इसे लाइक और शेयर जरूर कीजियेगा और कमेंट बॉक्स में इसके बारे में लिखकर अपनी प्रतिक्रिया जरूर दीजियेगा। 

दुनिया की कुछ ऐसी अजब गजब रोचक जानकारी जो शायद ही आपको पता होगी | Fact from around the world that you wont believe.

Leave a Reply